गाली ...
इस देश के लोग तरक्की नहीं कर सकते .स्कूटर सवार मालवा मिल, मुक्तिधाम की ओर मुड़ते हुए बोला. पिछली सीट पर बैठी पाश्चात्य रंग-रोगन में नख से शीश तक डूबी महिला ने कहा-एस यूं आर राइट . यह बात साइकिल सवार के कान में जैसे पिघला शीशा डाल दी हो . वह चिल्लाकर बोला अरे वो बिलायातिबाबू हम तो आदर्श सभ्यता उच्च्संस्कार,मर्यादा और मान-सम्मान की रोटी को असली तरक्की कहते हो . तुम अपनी अर्धनग्नता और फूहड़ता को तरक्की मानता है तो तेरी तरक्की तुझे मुबारक पर अपनी माँ को गाली तो मत दे.....
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