Friday, August 13, 2010

BETI

बेटी ....
किसकी बेटी है ?
श्री नयन की .
क्या कर रही हो शहर में ?
पढ़ रही हूँ.
माँ-बाप का नाम रोशन करोगी.?
अवश्य ...
माँ -बाप को बेटे का सुख दे पाओगी ? 
नही ..
क्यों ..
बेटी हूँ. बेटा नहीं बनना है . बेटी बने रहकर माँ-बाप को हर सुख देना मेरा सपना है .
ठीक कह रही हो मेरे भी दो बेटे है ,रोवन रोटी हो गयी है . काश तुम्हारी जैसी मेरी भी एक बेटी होती ........
नन्दलाल भारती १4.०८.२०१०
 

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