Tuesday, August 10, 2010

Papin

पापिन ..
डाक्टर पेट में बहुत दर्द है .
गठान है आपरेशन करना होगा .
आराम हो जाए ऐसी कोई दवाई दीजिये . घर जाकर बुढिया से राय्मशविरा कर पैसे का इंतजाम कर आपरेशन करवाऊंगा  .
बेटा नहीं है क्या ?
दो है डाक्टर साहेब कमा खा रहे है . हम बूढ़ा-बूढी बहिष्कृत जी रहे है .
लोग बेटो के लिए क्या -क्या करते है और बेटे नरक का दुःख भोगवा रहे है .
अक्तर साहेब नसीब अपना-अपना .
दवाई इंजेक्शन दे देता हूँ. आराम तो हो जायेगा. जानकी बाबा आपरेशन के बिना कोइ इलाज नहीं है .
जानकी बाबा घर गए बुढिया से राय्मशविरा  किये गहना  -गुरिया बेचकर रुपये का इंतजाम कर आपरेशन के लिए दोनों पति-पत्नी निकले ही थे की छोटी बहू बोली आपरेशन करवाने जा रहे हो लौटकर नहीं आओगे बुढाऊ तुमको कीड़े पड़ेगे .
बूढ़ा-बूढी उन्सुना कर चल दिए . आपरेशन सफल रहा पर खून की कमी डाक्टरी इलाज में लापरही के कारण घाव सड़ गया . कुछ ही दिन में कीड़े पड़ गए और जानकी बाबा एक दिन तड़प-तड़प कर मर गए तब से छोटी बहू इसराजी देवी गाव  वालो के लिए पापिन  हो गयी .नन्दलाल भारती --०८.०८.२०१०
 

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